अम्बाला डेस्कः पानीपत के एसडी कॉलेज में ‘शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास हरियाणा प्रांत’ की कार्यकारिणी बैठक मंगलवार को भाई जगराम (संयोजक उत्तर क्षेत्र) की अध्यक्षता में हुई। इसमें भारत सरकार की ओर से घोषित नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के प्रचार के लिए राष्ट्रीय शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास की ओर से एक समिति का गठन किया गया। इसका मकसद हरियाणा राज्य में नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति का प्रचार करना है।
न्यास के राष्ट्रीय सचिव अतुल कोठारी ने हरियाणा के चुने हुए शिक्षाविदों से अपील की है कि नई शिक्षा नीति को जन-जन तक पहुंचाएं। इसके लिए भी समिति प्रयास करे। शिक्षा केवल साक्षरता न रहे व मानव मशीन बन कर न रह जाए। बल्कि वह भारत के उत्थान के लिए कार्य करें ऐसे नागरिक गुण उसमें आने चाहिए।
उच्च शिक्षा समिति की सदस्य बनी डॉ. अनुपमा
हरियाणा में नई शिक्षा नीति के प्रसार के लिए गत वर्ष दिसंबर में डॉ. धर्मदेव विद्यार्थी की अध्यक्षता में एक समिति का गठन हुआ है। इसी के अंतर्गत कुरूक्षेत्र यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर पवन शर्मा के संयोजन में एक उच्च शिक्षा समिति का गठन हुआ। इसमें ड़ॉ अनुपमा आर्या को भी सदस्य के रूप में चयन हुआ है। इस समिति में विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलपति और अन्य गणमान्य सदस्य भी शामिल हैं। बीते मंगलवार को डाॅ. अनुपमा आर्य को नारी शिक्षा के सभी आयाम जिसमें स्वास्थ्य, संस्कार, शिक्षा, स्वावलंबन और सुरक्षा आते हैं, प्रदेश भर का उन्हें कार्यभार भी सौंपा गया। डाॅ. अनुपमा आर्या ने नई जिम्मेवारी मिलने के मौके पर कहा कि उनका परिवार अब बड़ा हो गया है। अब उनकी जिम्मेदारी सिर्फ कन्या महाविद्यालय ही नहीं बल्कि पूरे हरियाणा प्रांत के लिए मिली है। इसे बखूबी निभाने के साथ-साथ वह सरकार के ‘‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ के साथ का प्रयासरत रहेंगी।
समिति की बैठक में अम्बाला शहर से प्राचार्या डाॅ. विवेक कोहली, बालकल्याण समिति से डाॅ. प्रतिभा सिंह, डाॅ. गजराज सिंह आर्य (फरीदाबाद), धर्मदेव विद्यार्थी (जींद) , प्राचार्या अनीता (भिवानी) , डाॅ. संजीव कुमार (कुरूक्षेत्र) और डाॅ. रूपेश (लाडवा) शामिल हुए।