Fire in Kasganj: अच्छी मौत नसीब से मिलती है…

fire in Kasganj

व्यंग्य डेस्कः बरसात की खुशखबर पूरी तरह सुन भी नहीं पाए थे कि कासगंज में 75 परिवारों के जिन्दा जलने की खबर ने आंख के आंसू सोख लिए। बेमौसम बरसात की तरह तुम फैक्ट्री में धुंआ-धुंआ हो गए? तुम्हें जरा भी शर्म नहीं आई कि यह मौसम जलने का नहीं है। इस भारी गर्मी में […]

Continue Reading